27
Jan
भाभी के साथ रंग होली हिन्दुओ का एक प्रसिद्ध पर्व है जिससे आपसी बिद्वेश को कम करने के रुप मे देखा जाता है। इससे एक पौराणिक कथा भी जुड़ा हुआ है। जिसमे होलिका का अंत हो जाता है तथा प्रहलाद को जिवन दान मिलता है। व्यवहारिक रुप मे होली आपसी भेदभाव को मिटाने का माध्यम है। रिस्ते की बात की जाती है, तो देवर भाभी के रिस्ते का नोक-झोक देखते ही बनता है। इसी भाव के व्यक्त करता यह काव्य रचना पुरी रंग मे रचा गया है। आजकल हमारा नजरीया खुलापन के साथ आपसी विश्वास को दर्शाता है, जो रिस्ते…